Sarkari Document Per Maa Ka Name Hona Chahiye : हर साल मई के महीने में मातृ दिवस मनाया जाता है। लेकिन इस बार मातृ दिवस के मौके पर दिल्ली हाई कोर्ट द्वारा सामाजिक महत्व का मुद्दा बताते हुए स्टूडेंट के डॉक्यूमेंट पर पिता के साथ मां का नाम अनिवार्य करने का फैसला सुनाया है। अब से सभी सरकारी दस्तावेज पर पिता के नाम के साथ मां का नाम भी होगा। पूरी जानकारी क्या है, यह फैसला कब से लागू होगा, इस आर्टिकल में जानेंगे।
1 मई 2024 से नियम लागू होगा?
दिल्ली हाई कोर्ट के द्वारा सुनाए गए इस फैसले पर 1 मई 2024 से अमल किया जाएगा। यानि 1 मई बाद के बाद जन्म लेने वाले बच्चों के स्कूल, परीक्षा प्रमाण पत्र, पे स्लिप आदि में इसी नियम के अनुसार अपना नाम रजिस्टर कराना होगा।
सरकारी डॉक्यूमेंट में पहले से ही पिता का नाम का प्राथमिकता दिया जाता रहा है, इसलिए महिला एवं बाल विकास विभाग के अनुसार माताओ को महत्वपूर्ण भूमिका में एक नई पहचान देने की दिशा में नया कदम उठाया गया है। इसके अलावा जन्म प्रमाण पत्र या मृत्यु रजिस्ट्रेशन में क्या माता का नाम होना चाहिए, इसके संदर्भ में हेल्थ डिपार्मेंट केंद्र सरकार से बात कर रही है।
डिग्री में मां का नाम न होने पर जब कोर्ट पहुंची छात्रा
दरअसल एक छात्रा जो दिल्ली की गुरु गोविंद सिंह इंद्रप्रस्थ यूनिवर्सिटी से लाॅ की पढ़ाई कर रही है। उसने जब अपनी डिग्री में माता का नाम नहीं देखा, तो दिल्ली हाई कोर्ट का दरवाजा खटखटाया था।
छात्रा का नाम रितिका प्रसाद है, उसके अनुसार जब उसने 5 साल पहले एलएलबी कोर्स में एडमिशन दिया था। कोर्स पूरा करने के बाद जब उसे डिग्री मिली, तो उसमें केवल पिता का नाम था। डिग्री में माता का नाम नहीं था। उसके अनुसार डिग्री पर माता और पिता दोनों का नाम होना चाहिए।
पहले बच्चे का नाम, फिर मां का नाम, फिर पिता का नाम और सरनेम
महाराष्ट्र सरकार द्वारा लिया गया इस फैसला के अनुसार 1 मई 2024 के बाद जन्म लेने वाले बच्चों के सर्टिफिकेट पर पहले बच्चे का नाम, फिर माता का नाम, फिर पिता का नाम, इसके बाद सरनेम लिखना अनिवार्य कर दिया था।
महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने खुद के सोशल मीडिया अकाउंट एक्स (जिसका पहला नाम ट्यूटर था) पर दी है। साथ ही महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्रियों ने अपनी माता के नाम वाली नेम प्लेट के साथ फोटो भी खिंचवाया है।
महाराष्ट्र और दिल्ली में सरकारी डॉक्यूमेंट पर मां का नाम अनिवार्य
दिल्ली हाई कोर्ट द्वारा यह फैसला लिया गया कि स्टूडेंट के डिग्री सर्टिफिकेट पर पिता के साथ मां का नाम भी होना चाहिए। इसके अलावा महाराष्ट्र सरकार ने सरकारी दस्तावेज में मां का नाम अनिवार्य करने का फैसला लिया है। दिल्ली में भी अब सरकारी डॉक्यूमेंट पर छात्र के सर्टिफिकेट पर माता-पिता का नाम होना अनिवार्य किया गया है।
महाराष्ट्र सरकार द्वारा सभी सरकारी डॉक्यूमेंट पर पहले बच्चे का नाम, फिर माता का नाम, इसके बाद पिताजी का नाम, इसके बाद सरनेम लिखने का फैसला सुनाया है। इस फैसले के अनुसार सरकारी दस्तावेज जैसे – जन्म प्रमाण पत्र, प्रॉपर्टी डॉक्युमेंट्स, आधार कार्ड, स्कूल की मार्कशीट, पैन कार्ड आदि में मां का नाम होना अनिवार्य कर दिया है।
कोर्ट के अनुसार सामाजिक महत्व का सबसे बड़ा मुद्दा
कोर्ट ने कहा कि यह एक बहुत बड़ा समाजिक मुद्दा है, हालांकि इसके संबंध में UGC द्वारा 6 जून 2014 को एक सर्कुलर भी जारी किया गया है, जिस पर कोई ध्यान नहीं दिया गया। दिल्ली हाई कोर्ट ने यूनिवर्सिटी को आदेश दिया है कि 15 दिन के अंदर सर्टिफिकेट पर पिता के साथ मां का नाम जोड़कर नया सर्टिफिकेट जारी किया जाए।
निष्कर्ष
दोस्तों इस लेख में हमने बताया है कि दिल्ली हाई कोर्ट के फैसला के बाद अब बच्चों के सर्टिफिकेट पर पिता के साथ मां का नाम भी होना अनिवार्य (Sarkari Document Per Maa Ka Name Hona Chahiye) कर दिया गया है। 1 मई 2024 के बाद जन्म लेने वाले बच्चों के सर्टिफिकेट पर माता का नाम होगा।
महाराष्ट्र और दिल्ली राज्य में अब बच्चों के सर्टिफिकेट पर माता का नाम अनिवार्य किया गया है। इस लेख को अपने दोस्तों के साथ शेयर कीजिए, हां कोई सवाल है तो कमेंट करके पूछ सकते हैं।
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इस लेख को शिवानी यादव ने लिखा है। जो modi-yojana.com में मुख्य संपादक के रूप में कार्यरत हैं। शिवानी यादव ने हिंदी बिषय से B.A. और M.A. की है। इसके बाद लेखन क्षेत्र को अपना कैरियर बनाया। लेखन क्षेत्र में इनके पास 5 साल का अनुभव हैं। modi-yojana.com के संपादक, लेखक, के बारे में अधिक जानने के लिए यहां क्लिक करें।